वित्तीय कार्रवाई कार्य बल (FATF) ने भारत के अवैध वित्त को समाप्त करने के प्रयासों की सराहना की है, जिसमें धनशोधन और आतंकवाद वित्तपोषण शामिल हैं। वित्त मंत्रालय के राजस्व विभाग के अतिरिक्त सचिव विवेक अग्रवाल के अनुसार, FATF-APG-EAG द्वारा किए गए संयुक्त आकलन में यह निष्कर्ष निकाला गया है कि भारत ने धनशोधन और आतंकवाद वित्तपोषण (AML/CFT) के खिलाफ एक ठोस ढांचा लागू किया है, जो अच्छे परिणाम प्राप्त कर रहा है।
प्राधिकारियों ने वित्तीय खुफिया का अच्छे से उपयोग किया है और घरेलू तथा अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रभावी रूप से सहयोग कर रहे हैं। भारत ने FATF की सिफारिशों के प्रति उच्च स्तर की तकनीकी अनुपालनता प्राप्त की है। भारत ने अवैध वित्त से निपटने के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं।
हालांकि, यह देखने में आता है कि जब सरकार इतनी मेहनत कर रही है, तो फिर भी आम लोगों को इन प्रयासों का लाभ क्यों नहीं मिल रहा? क्या यह सिर्फ एक शोभा यात्रा है, या वाकई में हमारे अधिकारियों के लिए कोई वास्तविक बदलाव लाने का समय आ गया है?