प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने 27 नवम्बर को दिल्ली एनसीआर में डेयरी उत्पाद निर्माता कंपनी क्वालिटी लिमिटेड के पूर्व प्रमोटरों और निदेशकों के 12 स्थानों पर छापेमारी की। यह छापेमारी ₹1,400 करोड़ के बैंक धोखाधड़ी से संबंधित मनी लॉन्ड्रिंग जांच का हिस्सा है, सूत्रों के अनुसार।
सूत्रों ने बताया कि लगभग दर्जनभर स्थानों पर यह छापेमारी प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) के तहत की जा रही है। छापेमारी के दौरान कंपनी के पूर्व प्रमोटरों, निदेशकों और अन्य प्रमुख व्यक्तियों के ठिकानों की तलाशी ली जा रही है।
मामले की पृष्ठभूमि
यह मामला केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) द्वारा सितंबर 2020 में क्वालिटी लिमिटेड और उसके तत्कालीन निदेशकों के खिलाफ दर्ज एफआईआर से जुड़ा है, जिसमें आरोप है कि उन्होंने 10 बैंकों के एक संघ से ₹1,400 करोड़ से अधिक की धोखाधड़ी की।
बताया गया है कि बैंक ऑफ इंडिया (BOI) द्वारा नेतृत्व किए गए 10-बैंक संघ को कथित रूप से वित्तीय विवरणों को बढ़ा-चढ़ा कर प्रस्तुत करने और ऋण धनराशि के दुरुपयोग के जरिए धोखा दिया गया।
क्वालिटी लिमिटेड ने आइसक्रीम निर्माण कंपनी के रूप में अपनी शुरुआत की थी और बाद में उसने दूध-आधारित उत्पादों में विविधता लायी। कंपनी के पूर्व निदेशकों में संजय ढींगरा, सिद्धांत गुप्ता और अरुण श्रीवास्तव शामिल हैं।